अलवर। राजस्थान के अलवर में एक नाबालिग मूक-बधिर के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया गया। उसके बाद लहूलुहान स्थिति में उसे पुलिया के पास सड़क पर फेंक दिया गया। घटना मंगलवार रात की है और बच्ची की हालत नाजुक बनी हुई है। करीब एक घंटे तक बच्ची दर्द से कराहती रही, जब लोगों ने उसे देखा तो पुलिस को सूचना दी। इसके बाद पुलिस लड़की को स्थानीय अस्पताल ले गई, जहां उसे आईसीयू में भर्ती कराया गया। उसकी हालत गंभीर होने पर देर रात उसे जयपुर के अस्पताल में रेफर कर दिया गया। गैंगरेप के आरोपियों की अभी पहचान नहीं हो पाई है।
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इस बीच, पुलिस अधीक्षक तेजस्विनी गौतम ने आईएएनएस को बताया, “बच्ची इस समय जयपुर के जेके लोन में है। हमारी प्राथमिक चिंता उसका स्वास्थ्य है और इसलिए उसे वहां स्थानांतरित कर दिया गया और हमारी डिप्टी एसपी अंजलि उसके साथ है। हमने एक एसआईटी टीम बनाई है, इसमें छह एसएचओ भी शामिल हैं, जो आरोपी को गिरफ्तार करने के लिए तकनीकी और वैज्ञानिक साक्ष्य की तलाश कर रहे हैं।” गौतम ने कहा, “हमें पता चला कि नाबालिग मंगलवार को शाम करीब 4 बजे पास के गांव मालाखेड़ा से लापता थी। हमने उसके माता-पिता को सूचित किया और उन्होंने अपने बच्चे की पहचान की।” पुलिस आरोपितों की तलाश कर रही है।
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अधिकारियों ने बताया कि सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है। जेके लोन अस्पताल के अधीक्षक डॉक्टर अरविंद शुक्ला ने बताया कि सात डॉक्टरों की टीम बच्ची का इलाज कर रही है। इसमें स्त्री रोग विशेषज्ञ और प्लास्टिक सर्जन भी शामिल हैं। डॉक्टर ने बताया कि बच्ची को किसी नुकीली चीज से बुरी तरह जख्मी किया गया है। दिल्ली में हुए निर्भया कांड की तरह यहां भी एक नाबालिग मंदबुद्धि युवती से हैवानियत की हदें पार की गई। सम्भवतः युवती का अपहरण किया गया, उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म और उसके प्राइवेट पार्ट को भी चोटिल किया गया, जिससे उसका खून नहीं रुक पा रहा था। रात करीब 8 बजे दरिंदे उसे तिजारा फाटक पुलिया पर पटक गए।